Friday, December 14, 2012

चलता रहा

उस सुलगती धुप में,
वोह चलता रहा लड़ता रहा,
तंग गालिओ से गुज़रते हुए ,
काँटों से लड़ता रहा ,
पसीने में लतपत ,
अनदेखा कर बहते हुए,
पैरो से खून की धारा को ,
बस चलता रहा कांटो क पथ पर,


ढूंढ़  रहा था कुछ वोह,
दर बदर भटकता हुआ,
इन विपरीत परीस्थिति में 
वो मुस्कुरा रहा था,
शान से आगे बढ़ता जा रहा था,


पसीने में लतपत ,
अनदेखा कर बहते हुए,
पैरो से खून की धारा को ,
बस चलता रहा कांटो क पथ पर,


कितनो ने टोका उसको,
न जाने कितनो ने रोक उसको,
देख  उसको लडखडाते हुए,
ना हताश हुआ वोह ना निराश हुआ वोह, 


पसीने में लतपत ,
अनदेखा कर बहते हुए,
पैरो से खून की धारा को ,
बस चलता रहा कांटो क पथ पर,

Wednesday, November 28, 2012

चींटी

कल-कल करते हुए समंदर में,
पानी को बहते हुए देख रहा था में ,
न जाने कितनो को किनारों पर खेलता हुआ देखा मैंने ,
बैठ क पत्थरों के बीचो बीच . और मैंने उन पत्थरों में एक चींटी को देखा , मेरे पास से गुज़र रही थी वोह,, गौर से देखा तोह जाना, मुह में कुछ दबाये हुए चल रही थी वोह, अपने परिवार क लिए खाना ले जा रही थी वोह,, तभी पानी कि एक लहर आ पड़ी मुझपर , और शायद कुछ छींटे पड़े उस पर भी,
फिसल कर पत्थरों से रेट पर गिरी वोह , और वोह फिर उठी और चल पड़ी , उन लहरों से लड़ते हुए ,
मुह में खाना दबाये ,
लहरों को हरति हुई ....

Wednesday, October 31, 2012

पर्छाई



कह दिया इन पर्छाई  ने बहुत कुछ,
मजबूर कर दिया यह सोचने पर,
जब कुछ समझ नहीं आया ,
तोह फिर हमने अपने होठ सिल दिए ,
और फिर हम करते क्या ?,
हमने पर्छाई को ही कहने  दिया,
आखिर हम बोलते भी तोह क्या? 





Saturday, October 13, 2012

तकलीफ

रोई वो इस कदर,,
उनकी लाश से लिपट कर,
यह सोच कर,
की वो उन्हें खुद से वापिस ले आएँगी
वापिस चुरा लेंगी उन्हें,
सजा लेंगी वो उन्हें अपनी पलकों में,
कुछ इस कदर
की ढूंड ने पर भी
उन्हें खुदा  न ढूंड पाए,

Sunday, September 30, 2012

सोच

वोह बैठे थोड़े शांत थे,
शायद समय की गहराई में खोये हुए थे,
कुछ सोच रहे थे न जाने क्या ,
या फिर कुछ ढूंढ़ रहे थे ,
चमकते हुए टिमटिमाते हुए ,
तारो के बीचो बिच,
पूर्णिमा की रात में ,
पर फिर वो मुस्कु रा दिए ,
शायद कुछ एहसास हुआ होगा,
उठ खड़ा हो कर वो,
आगे चल दिए , गुनगुनाते हुए लफ्जों को ,
चमकते हुए टिमटिमाते हुए ,
तारो के बीचो बिच,

Saturday, September 22, 2012



कुछ अजीब सी बात है यहाँ,
छाई हर जगह है खमोशिआ
धुआ धुआ दिखा है हर जगह
सन्नाटे में बस्ता है यह जहाँ 

बोलती नहीं ज़ुबान कुछ भी नहीं यहाँ,
फिर भी कुछ शोर है यहाँ,
धुआ धुआ दिखा है हर जगह
सन्नाटे में बस्ता है यह जहाँ 

किस को क्या कहू
हो कर भी साथ मेरे वो गुम  है
धुआ धुआ दिखा है हर जगह
सन्नाटे में बस्ता है यह जहाँ 

Friday, September 21, 2012

किस्मत

देखा था मैंने उसको मुझे घूरते हुए,
आँखों में उसकी मुझे एक भूक दिखी,
जब में खुद बैठा था एक गाड़ी में,
और मेरी हैसयत उससे बड़ी थी ,
पर उसकी आँखें वो बोल गई ,
जो बंद होठ भी न बोल पाए,
उसमे इतनी ताकत थी,
जो मेरे विचारो को हिल गए ,
और में यह सोचने बैठ गया,
की हैसयत सब कुछ नहीं,
भूक भी कुच्छ होती है,
जो उसने बोल मुझसे ,
शायद मुझमे बोलने की हिम्मत नहीं है,
गलती उसकी भी नहीं है की वो बहार धुप में खड़ा है ,
और में अंग्दर खिड़की बंद कर क बैठा हूँ,
यह सब नसीब का खेल है,
आज ख़राब है उसका,
और शायद कल मेरा हो,
छोटा बड़ा कोई नहीं है दोनों मेसे,
सब नसीब का खेल है,
अगर आज किस्मत ख़राब है उसकी,
शायद कल मेरी हो 

Tuesday, August 28, 2012

तू ही बता



 है खफा  ज़िन्दगी हमसे क्यू ,
न जाने क्यू 
तू ही बता 

अँधेरी ज़िन्दगी में चलते हैं  हम ,
उलझनों से गुज़रते हैं हम ,
कैसे छलु में तेरे बिना ,
तू ही बता

मेरा साथ यूह छोड़ के ,
उम्मीद का दमन तोड़ के ,
चल दिए आगे क्यू ?
हमे पीछे छोड़ के ,
तू ही बता 

क्या सितम किये तुझ  पर मैंने  जो ,
तूने कुछ न कहा ,
एक ही झटके में  तूने ,
यह रिश्ता तोड़ दिया ,

तू ही बता
तू ही बता 

Friday, June 29, 2012

बिखरे सपने

देखे जो सपने मैंने कितने,
टूटे तो शीशे से बिखर जाए,
जोडू तोह जुड़े ना ,
और अगरजुड़ भी जाए तोह ,

दरारे हटाऊ हेट ना



Monday, June 25, 2012

चलते रेहना


अकसर अँधेरा छा  जाता है ,
दिल मेरा घबरा जाता है ,
जवाबो को ढूंढते हुए ,
सवालो में ही खो जाता है ,
बचपन में सीखा  था ,
यह दुनिया बहुत निराली है ,
बड़ा हुआ तोह पता  चला ,
यहाँ कितनी परेशानी है ,
पर ज़िन्दगी यूँ ही थमती नहीं ,
चलती जाती है,
न थमती न रूकती ,
बस चलती जाती है,.... 2

Tuesday, April 10, 2012

मोड़


 मुसाफिर  है हम भी,
मुसाफिर हो तुम भी,
शायद उस मोड़ में फिर से मिले ,
शायद ये नज़रे मिले,
शायद तू रुके,
 और यह नज़रे झुके, 
शायद उन सवालो के जवाब भी मिले ,
शायद उस मोड़ में फिर से मिले…. फिर से 

शायद उन दरियाओं में, ,
फिर से वोह कश्तियाँ बहायंगे,
शायद उन अधूरे गीतों को ,
फिर से गुन्गुनायांगे ,
शायद उन अधूरे सपनो को,
हम अब साकार बनायंगे,
और हम ज़िन्दगी भर का साथ निभायंगे 


बीते हुए उस बचपन में फिर से लौट जायंगे ,
तब्लो की थाप पर वो घुंगरू,
फिर से चंचनायंगे,
जाट तुम रूठो तोह,
प्यार से कुछ लिख कर पढ़ायेंगे ,
और हम ज़िन्दगी भर का साथ निभायंगे 


उन गिले शिकवो को हम भूल जायंगे,
तुझको देख कर आंसू बहायंगे ,
उन बीते हुए पालो में फिर से लौट जायंगे,
और हम ज़िन्दगी भर का साथ निभायंगे 
.....साथ निभायंगे........


Monday, April 9, 2012

कलयुग



देखो  यह क्या जिंदगी है,
दौड़ में भागती अंधी भीड़ है,
पराये तोह ठीक,
पर यहाँ अपनों की  भी खबर नहीं है,


यहाँ प्यास है हर कोई ,
यह प्यास भी कुछ अजीब है,
इर्षा द्वेष की भावना से ,
यहाँ हर कोई भरा है,


यहाँ आदमी बहुत रोता है,
जो पास है उससे उन्हें भी खो देता है,
लालचो में में डूबा हुआ,
खुद को कभी नहीं टोकता है,


कलयुग इससे सही कहा है,
कुत्ता तोह ठीक,
पर यहाँ आदमी -आदमी को काटने दौड़ता है,
यहाँ हर कोई भूका है,
इस आंधी भीड़ में दौड़ता है


समय गया जब यहाँ गाँधी का बोल बाला  था,
अब तोह यहाँ सचे का मुह कला है,
 रुपिया यहाँ सब को दीखता है 
हर कोई अपनी जेब भरने की सोचता है,

यह समय बहुत निराला है,
न जाने क्या-क्या दिखाना वाला है,
जो लिखू कम लगता है,
न जाने क्या - क्या होने वाला है 


Friday, March 9, 2012

HAPPY WOMENS DAY

we might work all day long out in the sun,
but its you who we look up to for a shade,
when we are tired and down,
we both might be busy in our work,
all day long,
but a single message or a call,
does it all,
you all are beautiful and his angel,
walking ahead and guiding us,
when we are wrong

we are a beast when we are amongst our self,
its your presence that changes us all,
you all are beautiful and his angel,
walking ahead and guiding us,
when we are wrong,
you all are beautiful and his angel,
walking ahead and guiding us,
when we are wrong

you are powerful,
standing like a rock,
you are sensible,
and you give it all,
you dont complain,
but you understand,
you all are beautiful and his angel,
walking ahead and guiding us,
when we are wrong


you smile like a child,
when you get what you want,
you are mature,
when you know things are wrong,
this is real "you"
that is where we guys fail,
and we say-
"GIRLS IMPOSSIBLE TO UNDERSTAND"
you all are beautiful and his angel,
walking ahead and guiding us,
when we are wrong

space is full,
but the poem is incomplete.....
hats off to you,
you are what we cant b.....

a very happy womens day to u all :) :D ♥ ♥ keep growing keep progressing :) :)

we all the mens should learn to respect them.... :) :)




KYA KAHU

क्या कहु जब देखू ,
एक नन्ही सि जान को,
हाथो में गगरी लिए,
चलते हुए गुनगुनाते हुए,
कैसे रोकू उसको,
जब देखू उससे उसका,
यह बचपन छिनते  हुए,



क्या कहु  जब देखू ,
उस के सपनो को टूट ते हुए,
जब देखू उसे,
दुसरे बचों को खेलता देखते हुए,
कैसे रोकू उसको,
जब देखू उससे उसका,
यह बचपन छिनते  हुए,



क्या कहु  जब देखू ,
उसको एक टूटी गुडिया से खेलते हुए,
जब देखू उसे,
रात में सोने को,
एक छत ढूंढते हुए,
कैसे रोकू उसको,
जब देखू उससे उसका,
यह बचपन छिनते  हुए,



क्या कहु जब देखू ,
उसको भाई बहनों को,
खाना खिलते हुए,
जब देखू उसको,
एक निवाले को तरसते हुए,
कैसे रोकू उसको,
जब देखू उससे उसका,
यह बचपन छिनते  हुए,









 

Saturday, February 18, 2012

ANGEL

when ever i see you,
i see a change in you,
you look more beautiful,
you look more graceful,
and my world stops,
i look at the sky,
try to connect to god,
he says he's busy,
as he is writing best things for you,
come to me some other time,
but he is clever,
 he never says it all,
you are his angel,
only one and none like you,
he had a secret,
while he was making you,
tough to c with normal eyes,
you are his angel so beautiful,
only one and none like you,
i'm lucky to have you,
to confide my pains in you,
you are his angel so beautiful,
only one and no one like u

Thursday, February 16, 2012

THIS IS LIFE....

life is full of strugles and troubles,
still i have to smile,
like all is fine,
i wonder whome to open up to,
i see no one by my side,
i guess this is life....

Thursday, February 9, 2012

FROM MY HEART

i look around,
i feel lost,
dont know,
where m roaming around,
vision so blurred,
 not knowing what to do,
its been a month,
i've talked with you,
the last hug,
that very night,
 tears out from the eyes,
not only from me,
but yours to,
standing there,
holding hands so tight,
not wanting to leave,
 till you disappeared from my eyes,
the phone call in which i cried,
asking you to come back,
and b on my side,
it was all wrong,
 the things we did,
i knew it myt b the end,
of our friendship,
 i've forgiven you,
that very night,
i dint want you to leave,
wanted you to stay by my side
i miss you,
but i'm ok,
i wonder if you think of me,
i wonder what to say


















for my best friend :) :).... u rock :) :) love uuu :) :D